Bhai Dooj 2026: हिन्दू धर्म मे भाई दूज पर्व का विशेष महत्व बतलाया गया। यह पर्व मुख्य रूप से भाई बहन को याद करने का प्रमुख दिन होता है। हिंदी पंचांग के अनुसार भाई दूज को हर साल कार्तिक माह के शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि को मनाया जाता है। इस पर्व को भाई और बहनों द्वारा अत्यंत उत्साह एवं प्रेम के साथ द्वारा मनाया जाता है। भाई दूज पर्व की रौनक पूरे देश में अलग ही देखने को मिलती है।
भाई दूज का पर्व 5 दिवसीय पर्व यानी दिवाली त्योहार का एक हिस्सा है। और यह पर्व दिवाली के दो दिन बाद पड़ता है। जिसे भाई दूज (Bhai Dooj) के नाम से जाना जाता है। भाई दूज का पर्व भारत के हर क्षेत्र में मनाया जाता है। और इसे महाराष्ट्र में भाऊ-बीज और पश्चिम बंगाल में भाई फोंटा के नाम से भी जाना जाता है। ऐसी मान्यता है कि यह पर्व भाई-बहन के रिश्तें को मजबूत करता है। भैया दूज या भाई टीका एक हिंदू भाई-बहन का त्योहार है और यह भारतीय त्योहारों में सबसे ज्यादा खुशी से मनाया जाता है।
मान्यता है कि इस दिन एक बहन अपने भाई की सफलता और उनकी सुख-समृद्धि के लिए भगवान यमराज प्रार्थना करती है। तो वहीं भाई भी अपनी बहन की रक्षा का बचन लेता है। और बहन के प्रति अपनी कृतज्ञता दर्शाने के लिए उसे उपहार स्वरूप कुछ भेट भी देता है। आइये जानते है साल 2025 में भाई दूज (Bhai Dooj) कब है? 20 या 21 सितंबर, जानिए पूजा की सही तिथि, शुभ मुहूर्त, पूजा विधि और इस दिन क्या करना चाहिए
भाई दूज पूजा विधि Bhai Dooj 2026 Puja Vidhi
भाई दूज के दिन भाई-बहन को सुबह जल्दी उठकर यमुना नदी में या घर पर ही पानी में यमुना का जल मिलाकर स्नान करना चाहिए। लेकिन इस बात का ध्यान रहे कि यह पूजा भाई और बहन दोनों मिलकर भगवान चित्रगुप्त की पूजा करनी चाहिए। यदि बहन विवाहित है तो भाई के घर या भाई बहन के घर जाकर एक साथ पूजा करनी चाहिए। इसके बाद भाई और बहन दोनों मिलकर पूजा की थाली सजाए और उस थाली में कुमकुम, सिंदूर, चंदन, फूल, फल, मिठाई, अक्षत व सुपारी रखें।
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इसके बाद बहन भाई को एक लकड़ी की चौकी बिठाए और और माथे पर घी रोली का टीका लगाकर माई की आरती उतारे इसके बाद भाई का मुंह मीठा कराये और के अंत मे भाई अपनी बहन को कुछ न कुछ उपहार स्वरूप भेट जरूर दें। और हो सके तो बहन भाई को अपने हाथों से भोजन जरूर कराये।
भाई दूज पर क्या करें? Bhai Dooj Par Kya Kare
शास्त्रो में बतलाया गया है कि भाई दूज (Bhai Dooj) के दिन यदि भाई-बहन दोनों मिलकर किसी गरीब व जरूरतमंद लोगों को खाना खिलाने और अपनी क्षमतानुसार दान-पुण्य आदि करना चाहिए। ऐसा करने से भाई बहन के जीवन में खुशहाली आती है और साथ ही घर-परिवार में सुख- ₹समृद्धि आती है।
मान्यता है कि बहन भाई को तिलक करते समय गंगा पूजे यमुना को यमी पूजे यमराज को, सुभद्रा पूजा कृष्ण को, गंगा यमुना नीर बहे मेरे भाई की आयु बढ़े’ का जाप करना चाहिए ऐसा करने से भाई की उम्र बढ़ती है।
भाई दूज 2026 पूजा शुभ मुहूर्त Bhai Dooj 2026 Date Time Muhurat
हिंदी पंचांग के अनुसार प्रत्येक साल कार्तिक मास की द्वितीया तिथि को मनाई जाती है। साल 2026 में द्वितीया तिथि आरम्भ हो रही है 20 सितंबर 2026 को सुबह 02 बजकर 38 मिनट पर और द्वितीया तिथि समाप्त हो रही है। 21 सितंबर 2026 की सुबह 02 बजकर 56 मिनट पर।
इसलिए साल 2026 में भाई दूज का पर्व 20 सितंबर दिन गुरुवार को मनाया जाएगा।
दोपहर भाई दूज पूजा शुभ मुहूर्त – 21 सितंबर 2026 को दोपहर 01 बजकर 53 मिनट से लेकर शाम – 04 बजकर 20 मिनट तक रहेगा।
भाई दूज पूजा की कुल अवधि है – 02 घण्टे 36 मिनट